विद्वान ब्राह्मण समिति
यज्ञ-अनुष्ठान, प्राणप्रतिष्ठा, मंगल पूजा, कालसर्प शांति, गृहप्रवेश एवं वास्तु शांति, रुद्राभिषेक, नवग्रह जाप, दुर्गा पाठ (सप्तचंडी), महामृत्युंजय जाप.वैदिक एवं शास्त्रोक विधि से विद्वान ब्राह्मणों द्वारा सम्पन्न कराए जाते हैं।
उज्जैन
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नवग्रह की शांति से संवरेगा
नौ ग्रहों के आशीर्वाद के लिए नवग्रह पूजा जरूरी मानी जाती है. मान्यता है कि दुर्भाग्य हटाने के लिए नौ ग्रहों के सभी नकारात्मक प्रभाव दूर करने और सुख-शांति के लिए नवग्रह पूजा होती है.
जीवन
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यज्ञ अनुष्ठान से विभिन्न
हवन अथवा यज्ञ भारतीय परंपरा अथवा हिंदू धर्म में शुद्धीकरण का एक कर्मकांड है। कुण्ड में अग्नि के माध्यम से ईश्वर की उपासना करने की प्रक्रिया को यज्ञ कहते हैं।
प्रयोजनों की पूर्ति
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देवताओं की प्राण प्रतिष्ठा अर्थात्, उन्हें जीवंत करना.
किसी भी मूर्ति की स्थापना के समय प्रतिमा रूप को जीवित करने की विधि को प्राण प्रतिष्ठा कहा जाता है. 'प्राण' शब्द का अर्थ है- जीवन शक्ति और 'प्रतिष्ठा' का अर्थ स्थापना से माना जाता है.
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हमारे बारे में
अपने निज निवास पर पूजन एवं हवनादि करवाएं।
हम वेदोक्त पद्धति तथा ज्योतिष के माध्यम से आपके जीवन को स्पष्टता और मार्गदर्शन प्रदान करने के लिए समर्पित हैं। हमारे अनुभवी, प्रवीण और विद्वान् आचार्य आपकी व्यक्तिगत और व्यावसायिक समस्याओं का समाधान करने, जीवन की दिशा को सही करने, और आपके भविष्य को बेहतर बनाने में आपकी मदद करने के लिए उपलब्ध हैं।
घर बैठे संकल्प दे व पूजन करवाए
वेदोक्त पद्धति से शास्त्रों के अनुसार पूजा पाठ अनुष्ठान अर्चना करवाएं।
देव प्राण प्रतिष्ठा
क्या आप अपने मंदिर या मूर्ति में वास्तविक ऊर्जा और पवित्रता का अनुभव करना चाहते हैं? देव प्राण प्रतिष्ठा एक ऐसा विशेष अनुष्ठान है, जो आपके धार्मिक स्थल को जीवंत, शक्तिशाली और पूजनीय बना सकता है।
यज्ञ अनुष्ठान
यज्ञ और अनुष्ठान भारतीय संस्कृति और परंपरा के अटूट अंग हैं। यह अनुष्ठान न केवल हमारे आंतरिक और बाहरी जीवन को शुद्ध करते हैं, बल्कि परिवार, समाज, और देश की समृद्धि के लिए भी महत्वपूर्ण होते हैं।
महामृत्युंजय जाप
एक ऐसा अद्भुत और शक्तिशाली मंत्र है, जो न केवल जीवन की सुरक्षा और दीर्घकालिक स्वास्थ्य को सुनिश्चित करता है, बल्कि मानसिक और आध्यात्मिक शांति की प्राप्ति में भी सहायक है।इस मंत्र के जप से मनुष्य की सभी बाधाएं और परेशानियां खत्म हो जाती हैं।
रूद्राभिषेक
एक अत्यंत महत्वपूर्ण और प्रभावशाली धार्मिक अनुष्ठान है, जो शिवजी की आराधना और आशीर्वाद प्राप्त करने का सर्वोत्तम तरीका है। यह पवित्र अनुष्ठान, जो विशेष रूप से महादेव शिव को समर्पित होता है।
दुर्गा पाठ
एक अत्यंत प्रभावशाली और पवित्र धार्मिक अनुष्ठान है, जो देवी दुर्गा की आराधना और उनके आशीर्वाद की प्राप्ति के लिए किया जाता है। यह पाठ, जो विशेष रूप से नवरात्रि और अन्य महत्वपूर्ण धार्मिक अवसरों पर किया जाता है।
वास्तु शांति
वास्तु शास्त्र भारतीय वास्तुकला और विज्ञान का प्राचीन रूप है, जिसका उद्देश्य हमारे घर, ऑफिस या किसी भी प्रकार की इमारत को सकारात्मक ऊर्जा से भर देना है। वास्तु शांति के माध्यम से हम अपने स्थान के दोषों को दूर कर सकते हैं।
नवग्रह शांति
नवग्रह (सूर्य, चंद्र, मंगल, बुध, बृहस्पति, शुक्र, शनि, राहु और केतु) हमारे जीवन के हर पहलू को प्रभावित करते हैं। ज्योतिष शास्त्र के अनुसार, इन ग्रहों की स्थिति हमारे भाग्य, स्वास्थ्य, समृद्धि, करियर, और रिश्तों पर गहरा प्रभाव डालती है।
कालसर्प दोष शांति
ज्योतिष शास्त्र के अनुसार, जब किसी व्यक्ति की कुंडली में सभी ग्रह राहु और केतु के बीच में आ जाते हैं, तो उसे *कालसर्प दोष* कहा जाता है। इस दोष के कारण व्यक्ति को जीवन में अनेक समस्याओं का सामना करना पड़ता है।
मंगल भात पूजा
भारतीय परंपरा में वैवाहिक जीवन को अत्यधिक महत्व दिया गया है। विवाह को न केवल दो व्यक्तियों, बल्कि दो परिवारों के मिलन का भी प्रतीक माना जाता है। विवाह के सफल और सुखद रहने के लिए ज्योतिष शास्त्र में ग्रहों की स्थिति का खास महत्व है।
विवाह कर्म
विवाह जीवन का एक महत्वपूर्ण और पवित्र बंधन है, जो दो आत्माओं और परिवारों को आपस में जोड़ता है। भारतीय संस्कृति में विवाह को एक धार्मिक कर्तव्य और जीवन का सबसे महत्वपूर्ण संस्कार माना जाता है।
लग्न पत्रिका
भारत में विवाह केवल दो व्यक्तियों का नहीं, बल्कि दो परिवारों का मिलन होता है। इस महत्वपूर्ण बंधन को सफल और सुखमय बनाने के लिए ज्योतिष शास्त्र का सहारा लिया जाता है।
जन्मपत्रिका
भारतीय ज्योतिष शास्त्र में *जन्मपत्रिका* (कुंडली) को जीवन का खाका माना जाता है। यह वह दस्तावेज़ है, जो आपके जन्म के समय ग्रहों और नक्षत्रों की स्थिति को दर्शाता है।
मंत्रों की शक्ति का उपयोग
मनोकामनाओं की पूर्ति के लिए देवताओं की पूजा.
हमारी संस्था उन लोगों की सेवा कर रही है जो वैदिक पारंपरिक तरीके से समस्याओं को दूर करना चाहते हैं। पूजा का मुख्य उद्देश्य उस भगवान का पोषण करना है जिसके पास मानवता की मदद करने की अपार शक्तियाँ हैं। हमारे आचार्यो ने वैदिक पूजा के महत्व और प्रथाओं को समझा और हमने सभी की समस्याओं को दूर करने और एक खुशहाल जीवन जीने का प्रयास किया।